Shardiya Navratri: शारदीय नवरात्रि 2025 की शुरुआत आश्विन माह से हो चुकी है। यह वही समय है जब देशभर में भक्तजन माता दुर्गा की आराधना करते हैं और नौ दिनों तक उपवास रखते हैं। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, नवरात्रि केवल पूजा-पाठ का पर्व नहीं बल्कि आत्मशक्ति, संयम और भक्ति का उत्सव है। भारत के विभिन्न हिस्सों में इस दौरान रामलीला का मंचन होता है और दशमी तिथि को दशहरा मनाया जाता है। यही कारण है कि यह पर्व सदियों से Shardiya Navratri 2025, Navratri fast और Goddess Durga blessing जैसे भावनात्मक और धार्मिक आयामों से जुड़ा रहा है।
रामायणकाल से जुड़ी नवरात्रि की कथा

क्या आप जानते हैं कि नवरात्रि व्रत का संबंध सीधे रामायण काल से भी जुड़ा हुआ है? जब रावण ने माता सीता का हरण किया था, तब भगवान श्रीराम गहन दुख में थे। उसी समय देवर्षि नारद उनके पास पहुंचे और उन्होंने श्रीराम को नवरात्रि व्रत रखने का उपदेश दिया।
नारद मुनि ने कहा कि आश्विन मास में नवरात्रि का उपवास करने से हर संकट का समाधान संभव है। श्रीराम ने उनकी बात मानी और नौ दिनों तक उपवास कर माता दुर्गा की पूजा की। यही उपवास आगे चलकर रावण पर विजय का मार्ग बना।
मां दुर्गा का आशीर्वाद और विजयादशमी की परंपरा
नवरात्रि उपवास से प्रसन्न होकर अष्टमी की रात मां दुर्गा ने श्रीराम को दर्शन दिए। उन्होंने श्रीराम को आशीर्वाद दिया और वचन दिया कि विजय उन्हीं की होगी। इसके बाद दशमी के दिन श्रीराम ने रावण का वध किया और सत्य की विजय का प्रतीक दशहरा मनाया जाने लगा।
यही कारण है कि आज भी लोग Shardiya Navratri को विशेष महत्व देते हैं और मानते हैं कि मां दुर्गा की कृपा से हर कठिनाई पर विजय प्राप्त की जा सकती है।
आज के समय में नवरात्रि उपवास का महत्व

नवरात्रि व्रत केवल धार्मिक दृष्टिकोण से ही नहीं, बल्कि स्वास्थ्य की दृष्टि से भी लाभकारी माना जाता है। वैज्ञानिक शोध बताते हैं कि उपवास से शरीर डिटॉक्स होता है और मानसिक एकाग्रता बढ़ती है। यही वजह है कि आज लाखों लोग Navratri fast को जीवनशैली का हिस्सा बना चुके हैं।
नवरात्रि का पर्व समाज को एकजुट करता है। इस दौरान गरबा, रामलीला और सामूहिक पूजा जैसी गतिविधियां लोगों को जोड़ती हैं। साथ ही, यह समय सकारात्मक ऊर्जा और आत्मविश्वास का भी प्रतीक माना जाता है।
रामायणकाल से जुड़ी यह कथा हमें सिखाती है कि विश्वास और उपवास जीवन में किसी भी कठिनाई को पार करने का मार्ग बन सकते हैं। Shardiya Navratri 2025 का पर्व केवल एक धार्मिक आयोजन नहीं बल्कि आस्था, धैर्य और विजय का संदेश है।
जब स्वयं श्रीराम ने नवरात्रि व्रत रखकर रावण पर विजय प्राप्त की, तो यह परंपरा आज भी करोड़ों लोगों के लिए प्रेरणा का स्रोत बनी हुई है।
डिस्क्लेमर: यह लेख धार्मिक मान्यताओं और शास्त्रीय कथाओं पर आधारित है। यहां दी गई जानकारी की किसी भी प्रकार की व्यक्तिगत या आधिकारिक पुष्टि नहीं की जाती। किसी भी धार्मिक परंपरा या आस्था का पालन करने से पहले विद्वानों और विशेषज्ञों की सलाह अवश्य लें।
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