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Electric Car Sales चीन में धीमी क्यों पड़ीं? जानिए घटते टैक्स और युवाओं की सोच का असर

Reported by: Rashmi | Edited by: Patrika Team | Agency: PT Media Network
Last Updated: November 10, 2025, 20:08 PM IST IST

Electric Car Sales: दोस्तों, अगर आप ऑटोमोबाइल इंडस्ट्री से जुड़े हैं या नई कार खरीदने का सोच रहे हैं, तो ये खबर आपको जरूर जाननी चाहिए। दुनिया के सबसे बड़े कार बाज़ार चीन (China Car Market) में अक्टूबर महीने में कार बिक्री (Car Sales) में अप्रत्याशित गिरावट दर्ज की गई है। लगातार 8 महीने की ग्रोथ के बाद ये गिरावट विशेषज्ञों के लिए भी चौंकाने वाली रही। आइए जानते हैं आखिर क्या कारण रहे इस मंदी के पीछे और इससे ग्लोबल मार्केट पर क्या असर पड़ेगा।

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Electric Car Sales: दोस्तों, अगर आप ऑटोमोबाइल इंडस्ट्री से जुड़े हैं या नई कार खरीदने का सोच रहे हैं, तो ये खबर आपको जरूर जाननी चाहिए। दुनिया के सबसे बड़े कार बाज़ार चीन (China Car Market) में अक्टूबर महीने में कार बिक्री (Car Sales) में अप्रत्याशित गिरावट दर्ज की गई है। लगातार 8 महीने की ग्रोथ के बाद ये गिरावट विशेषज्ञों के लिए भी चौंकाने वाली रही। आइए जानते हैं आखिर क्या कारण रहे इस मंदी के पीछे और इससे ग्लोबल मार्केट पर क्या असर पड़ेगा।

Electric Car Sales में गिरावट: कमजोर उपभोक्ता भावना और घटते सब्सिडी का असर

चीन की पैसेंजर कार एसोसिएशन (CPCA) के ताज़ा आंकड़ों के मुताबिक, अक्टूबर 2025 में देश की कार बिक्री साल-दर-साल 0.8% घटकर 22.7 लाख यूनिट्स रही, जबकि सितंबर में इसमें 6.6% की बढ़ोतरी हुई थी। इस गिरावट की मुख्य वजह मानी जा रही है कमज़ोर कंज़्यूमर सेंटिमेंट, घटते टैक्स एक्सेम्प्शन और सरकारी सब्सिडी में कमी।

Electric Car Sales

पहले जो उपभोक्ता टैक्स छूट और सरकारी योजनाओं के कारण कार खरीदने को प्रेरित थे, वे अब इंतजार कर रहे हैं। EVs (Electric Vehicles) और Plug-in Hybrids (PHEVs) की बिक्री में भी सुस्ती आई है सितंबर में जहां इनकी ग्रोथ 15.5% थी, वहीं अक्टूबर में ये घटकर सिर्फ 7.3% रह गई।

EV मार्केट में नई चुनौती: कम होती टैक्स छूट और बढ़ती प्रतिस्पर्धा

EV मार्केट जो अब तक चीन की ऑटो इंडस्ट्री का “ग्रोथ इंजन” था, अब वहीं धीमी रफ्तार पकड़ रहा है। 2026 से EV और PHEV वाहनों पर टैक्स ब्रेक्स आधे हो जाएंगे यानी अब तक मिलने वाली 30,000 युआन तक की छूट घट जाएगी। इसी कारण Xiaomi, Nio, और Li Auto जैसी कंपनियाँ 15,000 युआन तक की अपनी कस्टमर सब्सिडी दे रही हैं ताकि अगले साल तक के ऑर्डर बढ़ सकें।

लेकिन, सरकारी योजनाओं के खत्म होने के साथ ही 12 मिलियन से ज़्यादा ऑटो ट्रेड-इन पर चल रही स्कीमें भी बंद हो रही हैं। करीब 20 प्रांतों और शहरों में ट्रेड-इन सब्सिडी रोक दी गई है, जिससे उपभोक्ताओं की खरीदारी गतिविधि पर सीधा असर पड़ा है।

युवा खरीदारों की घटती रुचि: चीन के ऑटो मार्केट के लिए बड़ा संकेत

चीन में युवाओं की कार खरीदने की दिलचस्पी अब पहले जैसी नहीं रही। कई रिपोर्ट्स के अनुसार, पहली बार कार खरीदने वालों (First-time Buyers) की संख्या तेजी से घट रही है। इसके पीछे दो बड़े कारण हैं —

  1. शहरी इलाकों में कार शेयरिंग और राइड-हेलिंग ऐप्स का बढ़ता चलन।
  2. EVs की बढ़ती कीमतें और आर्थिक अनिश्चितता।

CPCA के सेक्रेटरी जनरल Cui Dongshu का कहना है, “कई युवा अब कार को ज़रूरत नहीं बल्कि लक्ज़री मानते हैं। इसलिए बिक्री में गिरावट स्वाभाविक है।”

BYD, Geely और Leapmotor में टक्कर: बजट सेगमेंट में तेज़ प्रतिस्पर्धा

दुनिया की EV दिग्गज BYD को अक्टूबर में बिक्री में गिरावट का सामना करना पड़ा, जबकि Geely और Leapmotor ने नए रिकॉर्ड बनाए हैं। इन दोनों कंपनियों ने बजट सेगमेंट में BYD को सीधी चुनौती दी है।

Electric Car Sales

खास बात यह है कि Aion UT Super EV नाम का नया मॉडल भी मार्केट में उतरा है, जो BYD Dolphin का सीधा मुकाबला करेगा। इसकी 500-किलोमीटर रेंज और CATL बैटरी-स्वैपिंग टेक्नोलॉजी इसे खास बनाती है। सबसे बड़ी बात इसकी शुरुआती कीमत सिर्फ 49,900 युआन रखी गई है, जो इसे बजट सेगमेंट में बेहद आकर्षक बनाती है।

एक्सपोर्ट से मिली राहत: BYD और अन्य कंपनियों ने बढ़ाया विदेशी कारोबार

हालांकि घरेलू बिक्री में गिरावट आई है, लेकिन चीन की कार एक्सपोर्ट ग्रोथ (Car Export Growth) में तेजी देखने को मिली है। CPCA के मुताबिक, अक्टूबर में चीन की कार निर्यात वृद्धि 27.7% तक पहुंची, जो सितंबर के 20.7% से कहीं ज्यादा है। BYD और अन्य कंपनियाँ अब विदेशी बाज़ारों में अपनी पकड़ मजबूत करने पर ध्यान दे रही हैं ताकि घरेलू बिक्री की कमी को पूरा किया जा सके।

यह रुझान बताता है कि चीन अब अपने EV सेक्टर को ग्लोबल EV मार्केट में विस्तार देने के लिए तैयार है, और आने वाले वर्षों में यह देश दुनिया की ऑटो इंडस्ट्री का केंद्र बना रह सकता है।

दोस्तों, चीन की कार बिक्री में यह गिरावट सिर्फ एक आंकड़ा नहीं है, बल्कि यह बताती है कि उपभोक्ता व्यवहार और मार्केट डायनेमिक्स कितनी तेजी से बदल रहे हैं। कमज़ोर डिमांड, घटती सरकारी सहायता, और युवाओं की बदलती प्राथमिकताएँ मिलकर आने वाले महीनों में ऑटो सेक्टर के लिए नई चुनौतियाँ लेकर आएंगी। हालांकि एक्सपोर्ट और तकनीकी नवाचार के बल पर चीन अभी भी दुनिया के सबसे मजबूत ऑटो बाज़ारों में से एक बना हुआ है।

Disclaimer: इस लेख में दी गई जानकारी चीन की ऑटोमोबाइल इंडस्ट्री से जुड़े आधिकारिक आंकड़ों और समाचार स्रोतों पर आधारित है। इसका उद्देश्य केवल जानकारी देना है, निवेश या खरीदारी सलाह नहीं।

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ABOUT THE AUTHOR

Rashmi

रश्मि कुमारी एक अनुभवी ब्लॉगर, कंटेंट क्रिएटर और डिजिटल उद्यमी हैं। वह Patrika Times की संस्थापक और CEO हैं, जो खेल, शिक्षा, मनोरंजन और अन्य क्षेत्रों की ताज़ा और भरोसेमंद खबरें पेश करता है। रश्मि डिजिटल मीडिया और कंटेंट क्रिएशन में विशेषज्ञ हैं और लोगों को उच्च गुणवत्ता वाले लेख लिखना, ऑनलाइन आय के अवसर बढ़ाना और डिजिटल दुनिया में सफल होना सिखाती हैं।

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